शतावरी एक प्राचीन जड़ी बूटी

शतावरी एक ऐसी औषधि है जो हिमालय की पहाड़ियों पर पाई जाती है ।हिमालय प्राकृतिक जड़ी बूटियों की खान है शतावरी भी उन्ही में से एक जड़ी बूटी है । इस औषधि को ऋग्वेद और आयुर्वेद के अनुसार बहुत प्राचीन माना गया है।आयुर्वेद से संबंधित हर ग्रंथ में शतावरी का उल्लेख हुआ है ।आचार्य चरक द्वारा रचित चरक संहिता और आयुर्वेदिक ग्रंथ अष्टांग  हृदयं में  शतावरी को  महिलाओं के लिए बहुत उपयोगी कहा गया है ।अगर किसी भी महिला को प्रजनन संबंधी कोई समस्या है तो उसके लिए तो यह औषधि रामबाण मानी गयी है । संस्कृत में इसके लिए (शतम रोग निरोधी) उक्ति प्रसिद्ध हुई है । शतावरी की महत्ता को आप इसी बात से जान सकते हैं कि आयुर्वेद ने इसको जड़ी बूटियों की रानी की संज्ञा दी  है । आयुर्वेद में इसको वात, पित्त दोष निवारिणी अर्थात वात और पित्त दोष के स्तर को सामान्य रखने वाली माना है । शतावरी की तासीर शीतल होती है ।आज से लगभग ५००० हजार सालों से शतावरी का उपयोग अनेक बीमारियों में और शरीर को स्वस्थ रखने के लिए होता आ रहा है |

shloka

व्याख्या –  यह श्लोक भावप्रकाशनिघण्टु के गुडुच्यादिवर्ग से लिया गया है इस श्लोक में शतावरी के गुणों के बारे में बताया गया है इस श्लोक में कहा गया है कि शतावरी मधुर तथा तीखे रस से युक्त ,गुरु ,शीतवीर्य ,रसायन ,धारणा शक्ति कारक,जठराग्निवर्धक ,पुष्टिदायक ,नेत्रों के लिए हितकारी ,शुक्रवर्धक ,स्तनों के लिए हितकारी ,बलकारक एवं गुल्म में लाभकारी,अतिसार ,वात , पित्तरक्त तथा शोथ को दूर करने वाली होती है ।मेधा तथा हृदय के लिए हितकारी ,वृष्य ,रसायन ,शीतवीर्य ,अर्श ,गृहणी तथा नेत्र रोगों को दूर करने वाली होती है । इन दोनों के अंकुर लघु एवं त्रिदोष,अर्श तथा क्षय के नाशक होते हैं  |

संदर्भ- भावप्रकाशनिघण्टु (गुडुच्यादिवर्ग ),श्लोक –१८६ से १८८

shatavari

आइये जानते हैं इसके गुणों के बारे में

दमा और खांसी के लिए लाभकारी :- अगर आपको दमे की शिकायत है और साथ में खांसी भी है तो आपके लिए यह औषधि बहुत फायदेमंद है । इसके सेवन के लिए आपको शतावरी के पौधे से रस निकाल  लेना चाहिए और उसके अंदर मिश्री को मिलाकर इस मिश्रण  को गुनगुने पानी के साथ सुबह और शाम को खाने से १ घण्टे पहले लेना चाहिए ।यह प्रयोग दमे के मरीजों और और कफ वाली खांसी के लिए बहुत ज्यादा उपयोगी है ।सूखी खांसी के लिए शतावरी का काढ़ा पीना काफी लाभदायक  हो सकता है ।

  • यौन शक्तिवर्धक:- अगर सेक्सुअल परेशानी की वजह से आपके संबंध आपके पार्टनर के साथ अच्छे नहीं बन पा रहे हैं और आप हमेशा चिंतित और निराश रहते हैं तो आपको शतावरी का सेवन करना बहुत उपयोगी साबित हो सकता है ।इसके लिए आपको शतावरी की जड़ों का चूर्ण तैयार करके उसको देसी गाय के दूध में डाल कर बनाया गया मिश्रण आपकी यौन शक्ति को बढ़ाने में सहायता करता है।इसलिए यौन समस्या से ग्रसित पुरुषों को शतावरी का नियमित सेवन करना बहुत लाभकारी है ।
  • कैंसर को जड़ से खत्म करे :- शतावरी के अंदर ऐसे बहुत सारे महत्वपूर्ण पोषक तत्व  पाए जाते हैं जो कैंसर जैसी भयानक बीमारी को भी खत्म कर देते हैं | शतावरी की तासीर शीतल होती है और इसके अंदर पाया जाने वाला हिस्टोन प्रोटीन कैंसर के मरीजों के लिए बहुत उपयोगी साबित होता है । हिस्टोन प्रोटीन के साथ साथ इसके अंदर भरपूर मात्रा में विटामिन ,जिंक और पोटैशियम जैसे खनिजों की भरमार मात्रा होती है ।इसलिए अगर किसी को कैंसर की  बीमारी अभी शुरू हुई है तो उनको रोजाना शतावरी का सेवन करना काफी असरदार साबित हो सकता है ।
  • मस्तिष्क की बीमारी में बहुत उपयोगी :- सारा दिन की थकान और दफ्तर के कार्य की चिंता आपके मस्तिष्क में बहुत सारी बीमारियां उत्पन्न कर  देती है और इसके कारण सिरदर्द ,  मस्तिष्क का ज्वर ,सिर के ऊपरी हिस्से में खुजली का होना आदि बहुत सारी परेशानियां हो जाती है ।इन सभी समस्याओं  को दूर करने के लिए आपको शतावरी का सेवन करना चाहिए ।इसके सेवन के लिए आपको शतावरी की जड़ों का रस   निकाल कर  उसके अंदर तिल के तेल का मिश्रण कर लेना चाहिए और उस मिश्रण से सिर की मालिश करना आपकी मस्तिष्क की हर समस्या को दूर कर देगा ।यह बहुत ही लाभदायक प्रयोग है ।
  • मूत्राशय के लिए काफी असरदार :- अगर आपके गुर्दे स्वस्थ रहते हैं तो आपका शरीर भी स्वस्थ रहता है और मूत्राशय में किसी भी प्रकार की कोई समस्या नहीं आती ।एक अध्यन के अनुसार अगर कोई उच्च रक्तचाप बीमारी का मरीज होगा तो उसको पेशाब से संबंधित परेशानियां आती हैं इसके लिए उस मरीज को शतावरी की जड़ों को सूखा कर उसका काढ़ा पीना बहुत लाभकारी साबित हो सकता है।गुर्दों की बीमारी से ग्रसित मरीजों को शतावरी का सेवन नियमित रूप से करना चाहिए यह प्रयोग उनकी समस्या को जल्दी ठीक कर सकता है।
  • हृदय रोग में असरदार :- हृदय के रोगियों के लिए तो यह औषधि सबसे ज्यादा उपयोगी है।इसके अंदर जो पोषक तत्व पाए जाते हैं वह आपके शरीर के अंदर रक्तचाप को बढ़ने नहीं देते और रक्त का संचार ठीक होने से आपका शरीर हृदय की हर बीमारी से बचा रहता है।इसलिए हृदय रोग में शतावरी को महत्वपूर्ण माना गया है ।
  • त्वचा का रखे ध्यान :- इसके अंदर पाया जाने वाला एंटी ऑक्सीडेंट आपको सूर्य की तेज धूप से बचा कर रखता है ।अगर आपको त्वचा से संबंधित कोई समस्या है जैसे कि खुजली होना ,लाल घेरे हो जाना या किसी भी प्रकार का घाव हो जाना इन सभी समस्याओं में शतावरी की जड़ों को पीसकर उसका लेप लगाने से आपकी ये सभी समस्याएं बहुत जल्दी ठीक हो जाएंगी । यह उपयोग आपकी त्वचा को स्वच्छ  और हर प्रकार की बीमारी से सुरक्षित रखता है ।
  • मोटापे को करे जल्दी खत्म :- आयुर्वेद ने शतावरी को उसके गुणों के कारण ही जड़ी बूटियों की रानी कहा है और इन्ही गुणों के द्वारा ये औषधि अनेक बीमारियों के लिए असरदार है ।इसके अंदर वसा और कैलोरी के साथ साथ फाइबर जैसे आवश्यक पोषक तत्व पाए जाते हैं जो आपके शरीर का वजन बढ़ने नहीं देते और शरीर सुडोल बना रहता है ।शतावरी का रोजाना सेवन करना आपके शरीर के वजन को संतुलित रखता है।

इनसे अलग ऐसे बहुत सारे रोग हैं जिनके लिए शतावरी काफी फायदेमंद है जैसे जोड़ों का दर्द ,पाचन तंत्र का खराब होना ,फेफड़ों के रोगों में,अल्सर में, उच्च रक्तचाप में और गठिया दर्द के लिए यह औषधि बहुत ज्यादा लाभकारी साबित हो सकती है।

Spread the love

Dr. Vikram Chauhan

Dr. Vikram Chauhan (MD - Ayurveda) is the CEO and Founder of Planet Ayurveda Pvt. Ltd. He is Author of the Book "Ayurveda – God’s Manual For Healing". He is an Ayurveda Expert Serving People worldwide through all the Possible Mediums, Operating from Main Branch in Mohali, India. With his Vast Experience in Herbs and their Applied Uses, he is successfully treating Numerous Patients suffering from Various Ailments with the help of Purest Herbal Supplements, Diet, and Lifestyle, according to the Principles of Ayurveda. For More Details, visit www.PlanetAyurveda.com.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *